कविता/poetry काव्य श्रृंखला – 53 5 Dec 20205 Dec 2020 ये दुनिया आजकल ....... चलो, दो चार लम्हें प्यार से जी लें मेरे प्यारेये दुनिया जिंदगी में मौत के सपने सजाती हैचलो, लम्हों में जीवन ढूंढकर जी लें मेरे प्यारेये…
कविता/poetry काव्य श्रृंखला – 51 1 Oct 2020 आखिर कब तक जलाकर मोमबत्ती और लिख कर पोस्ट लच्छेदारचले जाएंगे वो महलों में करने मौज गद्दों परबची रह जाएगी एक आह मरकर भी कहीं उसकीपुनः घूमेंगे नर के वेश…
कविता/poetry काव्य श्रृंखला – 49 13 Sep 202013 Sep 2020 चंचल मन, अल्हड़ सी लड़की प्रत्येक सामान्य मध्यमवर्गीय लड़की को समर्पित एक कविता © Arun अर्पण
शायरी शायरी – 48 2 Sep 2020 अर्पण यारी नाग की, भली जो चाहो मौतप्रेम प्रहार समान हैं, चुंबन में भी खोट © Arun अर्पण
कविता/poetry काव्य श्रृंखला – 47 25 Jul 2020 बुरा भी मानता हूं क्या तुम अक्सर पूछते हो मैं बुरा भी मानता हूं क्यासदा निश्छल सा दिखता हूं कि लड़ना जानता हूं क्यामैं दुनिया की नजर से खुद की…
कविता/poetry काव्य श्रृंखला – 45 4 Jun 20204 Jun 2020 क्या हुआ अगर चले थे ढूंढने इंसानियत गुमनाम राहों मेंदिशाएं स्याह, काले मन, बड़ी संगीन दुनिया थीभले मानुष दिखे अब रेड डाटा बुक के पन्नों परसड़ी बुद्धि, भ्रमित जनता, बड़ी…
शायरी शायरी – 41 15 Mar 2020 सच्चाई है कि उम्मीद अगले पल की भी नहींऔर वो कहते हैं कि उम्मीद पर दुनिया कायम है © Arun अर्पण
बातें - मेरी और आपकी… “जीवन वीथिका” is live now 19 Jan 202019 Jan 2020 As I shared in my previous post, my book "जीवन वीथिका" is published and live now. You can place an online order and receive it at your doorstep from following…
शायरी शायरी – 40 18 Dec 201918 Dec 2019 अक्सर ही देर हो जाती है जब भाव दिलों पर हावी हो, अक्सर ही देर हो जाती हैजब एकतरफा अहसास मिले, अक्सर ही देर हो जाती हैसंवाद की राह दिखे…
शायरी शायरी – 39 18 Nov 201918 Nov 2019 हूं मैं कातिल दिलों का, मुकद्दस नहींपर दिलों में सभी के ही बसता हूं मैंहै फसाना ये दिल का, खबर है मुझेफिर भी दिल की ग़ज़ल आज लिखता हूं मैं…
कविता/poetry काव्य श्रृंखला – 33 16 Aug 201917 Aug 2019 लतखोर लीला आओ मिलें कुछ लोगों से, जिनके जिम्मे कोई काम नहीं बिन तेरी मेरी बातों के, मिलता जिनको आराम नहीं हों लाखों छेद भले खुद में, पर चालन जेब…
कविता/poetry… गुरु पूर्णिमा की हार्दिक बधाई 16 Jul 201916 Jul 2019 श्री गुरु चरणकमलेभ्यो नमो नमः जब जीवन का कोई मधुर प्रहर काली छाया के बस में हो जब मन विचलित, संताप भरा, घनघोर निराशा, बेबस हो तब ज्ञान भरी कुछ…
शायरी शायरी – 30 10 Jul 2019 ख्वाबों ने पूछा हकीकत से तुम हमेशा उदास क्यों रहते हो हकीकत ने जवाब दिया - तेरी राह के अंधेरों के जुगनू अक्सर सुनहरे दिखते हैंमेरी राह है रोशन जहां…
Photography विचार श्रृंखला – 29 15 Jun 201915 Jun 2019 एक सफ़र का साथी और भी था देश की सुरक्षा में तैनात सैनिक यह कभी भी नहीं सोचता कि उसके पीछे उसके घर वालों का क्या होगा। उसके सामने सिर्फ…
शायरी शायरी – 28 8 May 2019 फिदा हूं तेरी इसी अदा पर ऐ दोस्त जलन भी जताया तो प्यार के साथ क़त्ल करने की तेरी अदा बेमिशाल जहर भी पिलाया मुस्कान के साथ
शायरी शायरी – 26 14 Apr 2019 यादें, इरादे तभी साथ अपने जब सांसों के मोती सलामत रहेंगे उठा कौन मंजिल पर अपने पहुंच कर, ये शिकवे गिले सब यहीं पर रहेंगे
कविता/poetry काव्य श्रृंखला – 25 2 Apr 2019 मोबाइल और हमारा जीवन मैं और मेरा मोबाइल, अक्सर ये बातें करते हैं कि तुम ना होते तो कैसा होता मैं बदन हूं, तुम हो छाया, तू न हो तो…
विचार श्रृंखला विचार श्रृंखला – 24 24 Mar 2019 जल दिवस - जीवन का संरक्षण परसों विश्व जल दिवस था लेकिन मैंने कोई पोस्ट नहीं लिखा। जल दिवस के अवसर पर मैं थोड़ा कंफ्यूज था कि किस जल के…
विचार श्रृंखला… विचार श्रृंखला – 22 8 Mar 20198 Mar 2019 महिला दिवस : कितना सार्थक आज अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस है। सामान्य अर्थ में यह दिन महिलाओं को समाज में समानता, इज्जत और सशक्तिकरण प्रदान करने के प्रतीक के रूप में…
कविता/poetry काव्य श्रृंखला – 22 24 Feb 2019 खुशी की पता - बताओ जरा समझ न सका तेरे दस्तूर को "अरुण" समझ न सका कि तेरी चाहत क्या है गर हंसता हूं तो चुभता हूं, रोने की फितरत…
शायरी शायरी – 21 21 Feb 2019 जीवन भर परिवार और समाज की उम्मीदों को उठाने वाले लोग जब चौथेपन की तरफ बढ़ते हैं तो अक्सर ही उन्हें रेगिस्तान के सूखे पेड़ की तरह उनके हाल पर…
कविता/poetry काव्य श्रृंखला – 21 20 Feb 2019 घर खो गया है जीवन की आपाधापी में, ख्वाहिश के तंग गलीचों में, सब कुछ पाने के सपनों में, ईमान कहीं सो गया है सच ही कहते हैं दुनिया वाले,…